हिजाब पर प्रतिबंध को लेकर मध्य प्रदेश सरकार ने अपनी स्थिति स्पष्ट कर दी है। गृह मंत्री व सरकार के प्रवक्ता डॉ. नरोत्तम मिश्रा ने कहा है कि मध्य प्रदेश के शिक्षण संस्थानों में हिज़ाब पर प्रतिबंध करने का कोई प्रस्ताव सरकार के पास विचाराधीन नहीं है। मीडिया से चर्चा करते हुए गृह मंत्री ने कहा कि हिज़ाब को लेकर भ्रम फैलाया जा रहा है जबकि सच्चाई यह है कि हिज़ाब पर प्रतिबंध लगाने का कोई प्रस्ताव ही सरकार के पास विचाराधीन नहीं है। जब प्रस्ताव ही नहीं है तो हिज़ाब पर प्रतिबंध की बात ही बेमानी हो जाती है। गृह मंत्री डॉ. मिश्रा ने कहा कि हिज़ाब का मामला कर्नाटक का है वहां भी यह मामला हाईकोर्ट में लंबित है। कोर्ट के फैसले से पहले ही कांग्रेस इस मामले को तूल देकर फिर एक बार साम्प्रदायिक सौहार्द बिगाड़ने का प्रयास कर रही है। गृह मंत्री ने कहा कि मध्य प्रदेश में कानून का राज है और यहां की शांति भंग करने की किसी को इजाजत नहीं है जो भी यह प्रयास करेगा उसे उसकी सजा भुगतनी होगी।
#MadhyaPradesh में #Hijab को लेकर कोई विवाद नहीं है। हिजाब को लेकर कोई भी प्रस्ताव सरकार के पास विचाराधीन नहीं है, इसलिए कोई भ्रम की स्थिति नहीं रहे।
कर्नाटक में भी यह पूरा मामला हाईकोर्ट में लंबित है।#Karnataka @mohdept pic.twitter.com/wx7kKMqXnI
— Dr Narottam Mishra (@drnarottammisra) February 9, 2022
बता दें कि कर्नाटक में स्कूलों में हिजाब को लेकर चल रहे विवाद के बीच मध्य प्रदेश के स्कूल शिक्षा मंत्री इंदर सिंह परमार ने मंगलवार को कहा था कि हिजाब ड्रेस का हिस्सा नहीं है, इसलिए इस पर प्रतिबंध लगना चाहिए। उन्होंने यह भी कहा कि मध्य प्रदेश के स्कूलों में ‘ड्रेस कोड’ लागू किया जाएगा। ताकि सभी स्कूली विद्यार्थियों में समानता की भावना सुनिश्चित की जा सके। उनके इस बयान के बाद प्रदेश में आरोप प्रत्यारोप का दौर शुरू हो गया था।