गर्ल्स हॉस्टल में छिपा कैमरा: 300 अश्लील वीडियो मिलने का दावा, महिलाओं की सुरक्षा पर गंभीर सवाल और पुलिस की मिली-जुली प्रतिक्रिया छात्राओं का विरोध

आपका भारत टाइम्स
5 Min Read

भारत में महिलाओं की सुरक्षा एक गंभीर मुद्दा रहा है, जो समय-समय पर विभिन्न घटनाओं के माध्यम से सामने आता है। हाल ही में आंध्र प्रदेश के कृष्णा जिले के एसआर गुडलवल्लेरू इंजीनियरिंग कॉलेज के गर्ल्स हॉस्टल में शौचालय में एक छिपा हुआ कैमरा मिलने की घटना ने इस बहस को और भी गंभीर बना दिया है। यह घटना न केवल कॉलेज प्रशासन की विफलता को उजागर करती है, बल्कि पुलिस और राज्य प्रशासन की प्रतिक्रिया भी संदेह के घेरे में है।

एसआर गुडलावाल्लेरू इंजीनियरिंग कॉलेज
एसआर गुडलावाल्लेरू इंजीनियरिंग कॉलेज hostel

घटना की शुरुआत और छात्राओं की प्रतिक्रिया

इस घटना की शुरुआत तब हुई जब कॉलेज के गर्ल्स हॉस्टल में रहने वाली एक छात्रा ने शौचालय में एक छिपा हुआ कैमरा पाया। इस खोज ने पूरे कॉलेज में भूचाल ला दिया। छात्राओं ने कॉलेज प्रशासन पर आरोप लगाया कि वह इस मामले को दबाने की कोशिश कर रहा है। और शिकायत दर्ज कराने वाली छात्राओं को धमकाया जा रहा है। गुरुवार रात से ही सैकड़ों छात्राएं इस घटना को लेकर विरोध प्रदर्शन कर रही हैं, जिसमें उन्होंने न्याय की मांग की और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की अपील की।

Student protest
Student protest

Student protest

प्रशासन की प्रतिक्रिया और पुलिस का बयान

इस घटना के बाद, मुख्यमंत्री एन. चंद्रबाबू नायडू ने मामले की गंभीरता को समझते हुए जिला कलेक्टर और पुलिस अधीक्षक को कॉलेज भेजा। इस दौरान  मंत्री के. रविंद्र ने भी छात्राओं से मुलाकात की और उनकी पीड़ा को सुना। पुलिस ने आरोपी की पहचान विजय के रूप में की, जो उसी कॉलेज का छात्र था। पुलिस ने उसके लैपटॉप को जब्त कर लिया और करीब 300 अश्लील वीडियो बरामद किए। प्रशासन ने दोषियों को सख्त सजा देने का आश्वासन दिया, लेकिन इस घटना ने कई सवाल खड़े किए हैं, जिनका जवाब अभी तक नहीं मिला है।

हालांकि, पुलिस का आधिकारिक बयान भी आया जिसमें कहा गया कि छात्राओं के  छात्रावास और शौचालय में कोई छिपा हुआ कैमरा नहीं मिला। कोई सबूत नहीं मिला।  और लड़कियों को इस मुद्दे पर चिंता करने की जरूरत नहीं है। आपको बता दें कि पुलिस ने छात्रों और कॉलेज के कर्मचारियों की मौजूदगी में कुछ संदिग्धों के लैपटॉप, मोबाइल फोन और अन्य इलेक्ट्रॉनिक गैजेट की जांच की। कृष्णा नगर जिले के पुलिस अधीक्षक गंगाधर राव ने पीटीआई को बताया कि  छात्रों के विश्वास बहाली के उपाय किए गए हैं और  पुलिस ने अब इस जांच के लिए एक विशेष टीम का गठन किया है, जिसमें पांच सदस्यीय पुलिस तकनीकी जांच दल भी शामिल है।

अब देखना यह होगा कि इस मामले की जांच कितनी पारदर्शिता के साथ होती है और दोषियों पर क्या कार्रवाई की जाती है।

वीडियो के प्रसारण की संभावना और संबंधित अन्य घटनाएं

इस मामले में एक और महत्वपूर्ण पहलू यह है कि पुलिस को शक है कि आरोपी ने यह वीडियो अन्य छात्रों को बेचे हैं। आपको बता दें कि इस संदर्भ में, बेंगलुरु के एक कैफे में कुछ दिनों पहले हुई घटना का उल्लेख भी महत्वपूर्ण है, जहां वॉशरूम में एक हिडन कैमरा पाया गया था। उस मामले में भी आरोपी ने वीडियो बनाने के लिए स्मार्टफोन का उपयोग किया था।

यह घटना न केवल व्यक्तिगत सुरक्षा की विफलता को दर्शाती है, बल्कि यह पूरे कॉलेज प्रशासन की खामियों को भी उजागर करती है। महिलाओं के प्रति इस प्रकार की घटनाएं हमारे समाज की नैतिकता और संवेदनशीलता पर सवाल खड़ा करती हैं।

इस घटना का भविष्य पर प्रभाव : इस घटना के बाद छात्राओं और उनके अभिभावकों में डर और चिंता का माहौल बन गया है। कई छात्राओं ने अपनी पढ़ाई बीच में ही छोड़ने की धमकी दी है, जबकि कई ने कॉलेज प्रशासन के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की मांग की है। अगर इस मामले में दोषियों को सख्त सजा नहीं मिली, तो यह घटना भविष्य में महिलाओं की सुरक्षा के प्रति और भी गंभीर सवाल खड़े कर सकती है।

निष्कर्ष

इस घटना ने यह स्पष्ट कर दिया है कि महिलाओं की सुरक्षा के लिए अब और कड़े कदम उठाने की जरूरत है। प्रशासन और पुलिस को न केवल दोषियों को सजा दिलानी चाहिए, बल्कि भविष्य में इस प्रकार की घटनाओं को रोकने के लिए ठोस उपाय भी करने चाहिए।

यह भी पढ़ें – आत्महत्या के मामले: पुरुषों की अधिकता और छात्रों में वृद्धि – एक विस्तृत विश्लेषण 

2
Share This Article
Leave a comment

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Home
राज्य चुने
Video
Short Videos
Menu
error: Content is protected !!